एड्स जैसी गंभीर बीमारी पर शोध और अध्यश्ों का सिलसिला लगातार जारी है। इसी दिशा में महिलाओें को एड्स के संक्रमण से बचाने के लिए नीम से तैयार की जा रही दवा पनीम को रोग विषयक परीक्षणों को दूसरे चरण में भी कारगर पाया गया है। औषधीय गुणों से भरपूर नीम के पेड़ से तैयार लेप रूपी यह दवा महिलाओं में एड्स के संक्रमण को रोकने मेें सक्षम है। भारतीय चिकित्सा अनुसंधान परिषद की उपमहानिदेशक नमिता चंढोक के अनुसार लेप या जेल के रूप में इस्तेमाल होने वाली यह दवा महिलाओं के योनि मार्ग में एचआईवी एड्स के संक्रमण से बचाव करने में सक्षम हैं।
चंढोक के अनुसार देसी दवा के रूप में इसका प्रयोग छह महीने तक ऐसी 50 महिलाओं पर किया गया जो एचआईवी एड्स से पीड़ित नहीं है, लेकिन उसमें संक्रमण होने की संभावना बेहद ज्यादा हैं। अनुसंधानकर्ताओं के अनुसार यह दवा कीटाणुनाशक तत्वों व प्राकृतिक रसायनों पर आधारित है और यौन संपर्क के जरिए होने वाले संक्रमण से बचाव कर सकती है। वहीं दूसरी तरफ दवा से संबंधित तीसरे चरण के परीक्षण जल्द ही शुरू होने की उम्मीद है। जिसके परिणाम 18 महीनों के भीतर आ जाएंगें। गौरतलब है कि भारत में एचआईवी एड्स के मरीजों की संख्या लगभग 25 लाख है जिनमें से 40 फीसदी महिलांए है।